Entries by rajyogi

आंतरिक बल -722

  • अत्याचार और व्यवहार
  • जब कोई अत्याचार करता है, जुल्म करता है,अपनी शक्तियो का दरुपयोग करता है, पैसा कमाने के लिये गलत रास्ते अपनाते हैँ तो जो व्यक्ति इस से प्राभावित होते हैँ |
  • वह नाराज हो जाते हैँ और मन ही मन बद दुआए देते हैँ ।
  • लोगो की इस नाराजगी के कारण व्यक्ति का मन कमजोर हो जाता है जिस से वह छोटी छोटी घटनाओ पर आवेश में आ जाएगा |

आंतरिक बल -721

  • नाराजगी और व्यवहार |
  • नाराज़गी पालना ऐसा है मानो एक व्यक्‍ति खुद के गाल पर तमाचा मारता है |
  • परिवार के जिस सदस्य से आपकी नाराज़गी है, उस व्यक्‍ति को शायद आपकी नाराज़गी के बारे में पता ही न हो ।
  • किसी के शब्दो और कार्यो की अपेक्षा नाराज़गी पालने से हमें ज़्यादा चोट पहुँचती है ।